दिल्ली के महरौली जंगलों से दिल्ली पुलिस को श्रद्धा की मिली हड्डियां, आफताब की निशानदेही पर बरामद हुई

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श्रद्धा हत्याकांड में दिल्ली पुलिस को गुरुवार को बड़ी सफलता मिली। पुलिस ने बताया कि दिल्ली के जंगलों से मिली हड्डियों का डीएनए श्रद्धा के पिता से मैच कर गया है। ये हड्डियां मेहरौली और गुरुग्राम के जंगलों से मिली थीं। ये हड्डियां आफताब की निशानदेही पर बरामद हुई थीं। दिल्ली पुलिस के मुताबिक 28 साल के आफताब ने 18 मई को 27 साल की श्रद्धा का मर्डर कर दिया था। दोनों लिव-इन में रहते थे। आफताब ने श्रद्धा के शव के 35 टुकड़े किए थे। इन्हें रखने के लिए 300 लीटर का फ्रिज खरीदा था। वह 18 दिन तक रोज रात 2 बजे जंगल में शव के टुकड़े फेंकने जाता था। पिछले महीने आफताब का नार्को टेस्ट किया गया था। इसमें उसने श्रद्धा के मर्डर की बात कबूली थी। दिल्ली के बाबा साहेब अंबेडकर अस्पताल में 2 घंटे तक आफताब का नार्को टेस्ट चला था। आफताब ने टेस्ट में पूछे गए ज्यादातर सवालों के जवाब अंग्रेजी में दिए। उसने पॉलीग्राफ टेस्ट में भी श्रद्धा की हत्या की बात कबूल की थी, हालांकि तब उसने कहा था कि उसे हत्या का अफसोस नहीं है।

वहीं श्रद्धा के पिता ने कहा था कि उन्हें 2019 में बेटी ने बोला था कि उसे आफताब के साथ लिव-इन रिलेशनशिप में रहना है। जिसके लिए उन्होंने मना कर दिया था क्योंकि वह हिन्दू हैं और लड़का मुस्लिम। श्रद्धा के पिता ने पुलिस को बताया कि हमारे मना करने पर मेरी लड़की श्रद्धा वाकर ने बोला कि मैं 25 साल की हो गई हूं और मुझे मेरे फैसले लेने का पूरा अधिकार है। मुझे आफताब के साथ रहना है। उसने बोला कि मैं आज से आपकी बेटी नहीं ऐसा समझो, ये बोला घर से जाने लगी, मैंने और मेरी बीवी ने उसे बहुत समझाया लेकिन वह नहीं मानी। हमारा घर छोड़कर आफताब के साथ रहने चले गई। मुझे उसके दोस्तों से पता चला कि वे दोनों पहले एक साथ नया गांव और फिर वसाई महाराष्ट्र में थे। श्रद्धा अपनी मां से फोन पर बता करती थी और बताया करती थी कि आफताब उससे झगड़ा करता है और मारपीट भी। मैंने आफताब को छोड़कर घर आने को कहा। लेकिन आफताब के पास चले गई। इसके बाद मुझे श्रद्धा के दोस्तों ने बताया कि कुछ भी अच्छा नहीं है। उसके साथ मारपीट होती है। मेरी बात नहीं मानने की वजह से मैंने अपनी लड़की से काफी महीनों तक बात नहीं की।