तीन भारत मूल की महिलाओं ने ऑस्ट्रेलिया में किया नाम रोशन, एसटीईएम सुपरस्टार में हुईं चयनित

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तीन भारत मूल की महिलाओं ने ऑस्ट्रेलिया में देश का नाम रोशन किया है। ऑस्ट्रेलिया में एसटीईएम सुपरस्टार के तौर पर चयनित 60 वैज्ञानिकों, प्रौद्योगिकीविदों, इंजीनियरों और गणितज्ञों में तीन भारतीय मूल की महिलाएं भी शामिल हैं। एसटीईएम एक पहल है जिसका उद्देश्य वैज्ञानिकों के बारे में समाज की लैंगिक धारणाओं को तोड़ना और महिलाओं और महिला व पुरुष की लैंगिक धारणा से इतर लोगों की सार्वजनिक दृश्यता में वृद्धि करना है। इस लिस्ट में नीलिमा कडियाला, डॉ. एना बाबूरमानी और डॉ. इंद्राणी मुखर्जी को शामिल किया गया है। STEM एक ऐसी मुहिम है जिसके जरिए समाज की लैंगिक धारणाओं को तोड़ने पर जोर दिया जाता है और महिला वैज्ञानिकों को आगे आने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है। इस बार उन्हीं 60 वैज्ञानिकों में से तीन भारतीय मूल की महिला वैज्ञानिकों को भी मौका दे दिया गया है। बता दें कि Science and Technology Australia (STA) द्वारा हर साल विज्ञान, टेक्नोलॉजी, इंजीनियरिंग में काम कर रहे 60 एक्सपर्ट्स का चयन किया जाता है। उन्हें पब्लिक के सामने रोल मॉडल की तरह पेश किया जाता है। नीलिमा कडियाला की बात करें तो वे चैलेंजर लिमिटेड में आईटी प्रोग्राम मैनेजर के पद पर अपनी सेवाएं दे रही हैं। उन्हें FMCG, आर्थिक, सरकारी सेक्टर में काम करने का 15 साल का अनुभव है। 2003 में वे Master of Business in Information Systems करने के लिए ऑस्ट्रेलिया आ गई थीं। डॉ. एना बाबूरमानी लंबे समय से डिपार्टमेंट ऑफ डिफेंस में साइंटिफिक एडवाइजर के रूप में जुड़ी हुई हैं। एक बाइयोकेमिकल वैज्ञानिक के रूप में उन्होंने मस्तिष्क के विकास की जटिल प्रक्रिया को करीब से समझने का प्रयास किया है। इसके अलावा बाबूरमानी ने यूरोप में 10 सालों तक शोधार्थी के तौर पर काम किया है। वहीं डॉ. इंद्राणी मुखर्जी स्मानिया विश्वविद्यालय में भूविज्ञानी हैं। जैविक संक्रमण पर उन्होंने विस्तृत रिसर्च की है। वैसे भारतीय मूल के अलावा श्रीलंका की एक महिला वैज्ञानिक को भी STEM का हिस्सा बनाया गया है।