

जसप्रीत बुमराह, भारतीय गेंदबाजी का सबसे अहम हिस्सा जिसने आज अंग्रेजो के छक्के छुड़ा दिए। 6 बल्लेबाजों को पवेलियन भेजकर बुमराह ने अपने करियर का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया तो वही रोहित-शिखर की जोड़ी ने बाकी का काम पूरा कर दिया। 10 विकेट से शानदार जीत के बाद भारत तीन वनडे मैचों की सीरीज में 1-0 से बढ़त बना चुकी है। इतिहास में इंग्लैंड के लिए यह पहला ऐसा घरेलू मैच था जिसमें वह 10 विकेट से हारा हो। जबकि 10 विकेट से भारत की यह 7वीं जीत है।
भारत और इंग्लैंड के बीच हुए पहले पहले वनडे क्रिकेट मैच में रोहित शर्मा ने टॉस जीतकर फील्डिंग चुनी और फिर शुरू हुआ ओवल के मैदान पर भारतीय पेस बैटरी का कमाल भारत के तीन पेसर जसप्रीत बुमराह, मोहम्मद शमी और प्रसीद्ध कृष्णा ने इंग्लैंड के बल्लेबाजों क्रम की कमर तोड़ दी। भारत के गेंदबाजों ने इंग्लैंड के किसी भी बल्लेबाजों को नहीं चलने दिया। पावरप्ले खत्म होते ही 17 रन के कुल योग पर 4 विकेट चटका दिए और पूरी टीम 25.2 ओवर में ही पवेलियन में आराम फरमाने के लिए भेज दिया।
जसप्रीत बुमराह ने अपने 7.2 ओवरों में 19 रन देकर छह विकेट लेकर इंग्लैंड के बल्लेबाजों को घुटने पर ला दिया। यह बुमराह का वनडे में अब तक का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन है। मोहम्मद शमी ने 31 रन देकर तीन विकेट झटका। बाकी का काम प्रसीद्ध कृष्णा ने कर दिया। उन्होंने 1 विकेट झटके। इंग्लैंड के कप्तान जॉश बटलर के अलावा ऐसा कोई भी बल्लेबाज नहीं था जो भारतीय पेस बैटरी का सामना कर सके। टॉप चार बल्लेबाज शून्य पर पवेलियन लौट गए। जेशन रॉय, जॉय रुट, बेन स्टोक्स और लिविंग्सटन जैसे बल्लेबाज शून्य का शिकार हो गए।
जॉश बटलर ने जरुर 30 रनों की पारी खेली लेकिन एक तरफ से विकेट गिरता चला गया भारत को जीत के लिए मात्र 111 ररनों की आवश्यकता थी और फील्ड में उतरें पांच महीनों बाद वापसी कर रहे शिखर धवन। उनका यह 150वां मुकाबला था। रोहित के साथ मिलकर शिखर धवन ने इंग्लैंड के गेंदबाजों की क्लास लेनी शुरू कर दी। एक समय तक स्थिर बल्लेबाजी करने वाले रोहित शर्मा ने छक्कों की झड़ी लगा दी। रोहित शिखर की जोड़ी ने ना सिर्फ शतकीय साझेदारी की बल्कि टीम को 10 विकेट से जीत दिला दी।
गेंदबाजों ने किया कमाल

भारत की ओर से यह अब तक के वनडे इतिहास में पहली बार हुआ है जब सभी 10 विकेट फ़ास्ट बॉलर्स ने लिए हो। इससे पहले 1983 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ चेम्सफोर्ड में, उसी साल वेस्टइंडीज के खिलाफ लॉर्ड्स में, 1997 टोरंटो में पाकिस्तान के खिलाफ, 2003 जोहान्सबर्ग में श्रीलंका के खिलाफ और फिर 2014 मीरपुर में बंग्लादेश के खिलाफ फ़ास्ट बॉलर्स ने सभी के सभी 10 विकेट उड़ाने का कारनामा किया। आज का कारनामा कुछ ऐसा हुआ कि इंग्लैंड भारत के खिलाफ सबसे कम रनों के कुल योग पर आउट हो गया। बुमराह द्वारा किसी भी भारतीयों का इंग्लैंड में यह सबसे बेस्ट परफॉर्मेंस है।
एक विशेष लिस्ट में मोहम्मद शमी भी शामिल हो गए। सबसे कम गेंदें फेंककर विकेट लेने वालों में शमी पांचवें गेंदबाज बन गए हैं। माइकल स्टार्क( 3857 गेंदों पर), अजंता मेंडिस( 4029 गेंदों पर), सकलेन मुश्ताक (4035 गेंदों पर), राशिद खान (4040 गेंदों पर) 150 विकेट हासिल किए हैं और अब उसी लिस्ट में मोहम्मद शमी शामिल हो गए हैं जिन्होंने 80वें मैच में 4071 गेंदों पर 150 विकेट हासिल करने की उपलब्धि हासिल की है।
सलामी जोड़ी को एक सलाम

दर्शकों की उम्मीद पर भारतीय सलामी जोड़ी खरी उतरी। शतकीय साझेदारी के साथ ही इस जोड़ी ने वनडे में 5000 रन पूरी की। 112 मैचों में रोहित-शिखर की यह 18वीं सेंचुरी साझेदारी है। उनसे आगे सचिन-गांगुली (26शतक), दिलशान-संगकारा (20 शतक), रोहित-विराट (18 शतक) और गिलक्रिस्ट-हेडन के नाम 16 शतकीय साझेदारियां हैं। इससे पहले रोहित-शिखर ने 111 वनडे मैचों में ओपनिंग की है और इस दौरान 45.66 की शानदार औसत से 4994 रन बनाए हैं। दोनों बल्लेबाजों के बीच अभी तक 17 शतकीय और 15 अर्धशतकीय साझेदारियां हो चुकी हैं। रोहित शर्मा ने मैच में 5वां छक्का जड़ते ही अपने सिक्सर्स की संख्या 250 कर दी।
शिखर-रोहित की जोड़ी से पहले सचिन-गांगुली की जोड़ी 1996 से 2007 तक 136 मैचों में भारतीय टीम के लिए ओपनिंग की। 49.32 की शानदार औसत से कुल 6609 रन बनाए। इस दौरान सचिन तेंदुलकर और सौरव गांगुली के बीच 21 शतकीय और 23 अर्धशतकीय साझेदारियां हुईं। 258 रन इन दोनों खिलाड़ियों के बीच सर्वाधिक साझेदारी है।
इस लिस्ट में तीसरी भारतीय जोड़ी सचिन सहवाग की है। 2003 का वर्ल्ड कप आपको याद होगा कि किस तरह से सचिन और सहवाग की जोड़ी ने उस टूर्नामेंट में शानदार खेल दिखाया था। इन दोनों दिग्गज खिलाड़ियों की जोड़ी ने 2002 से लेकर 2012 तक कुल 93 पारियों में भारतीय टीम की तरफ से सलामी बल्लेबाजी का जिम्मा संभाला और इस दौरान 42.13 की औसत से 3919 रन बनाए। दोनों खिलाड़ियों के बीच सर्वाधिक ओपनिंग साझेदारी 182 रनों की रही। सचिन और सहवाग की जोड़ी ने 12 शतकीय और 18 अर्धशतकीय साझेदारियां की।